मैं आज्ञा का पालन करता हूं
वो आत्मा
जो मेरे द्वारा बचपन से डाली गई छायाओं को लगातार गिन रहा है
नदी के बहते पानी में मेरे चेहरे की तलाश करना व्यर्थ है
जिस आईने में मैं अपना चेहरा देखता हूं वह है और चुप रहता है
मुझे खुद को खुद में और दुनिया में खोजने की जरूरत नहीं है, मैं दोनों दुनिया में हूं
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